अररिया संवाददाता
सुबे में नगर निकाय चुनाव में ओबीसी आरक्षण पर उच्च न्यायालय का फैसला दुर्भाग्यपूर्ण,,,,,,,,,,, महानंद विभु
राष्ट्रीय जनता दल अति पिछड़ा वर्ग प्रकोष्ठ के जिला अध्यक्ष महानंद विभु ने शुक्रवार को प्रेस वार्ता कर बताया कि सुबे में नगर निकाय चुनाव में ओबीसी आरक्षण को लेकर उच्च न्यायालय पटना के निर्णय को दुर्भाग्यपूर्ण बताया।
कहा कि पटना उच्च न्यायालय द्वारा सुनाया गया फैसला अति पिछड़ा एवं अन्य पिछड़ा समाज को भाजपा सरकार के खिलाफ निर्णायक आंदोलन करना होगा, क्योंकि जब से केंद्र में भाजपा की सरकार आई है, तब से आरक्षण पर लगातार हमले हो रहे हैं। अति पिछड़ा वर्ग प्रकोष्ठ के जिला अध्यक्ष ने कहा कि पटना उच्च न्यायालय द्वारा स्पष्ट कहा गया है कि बिहार में नगर निकाय चुनाव वर्तमान पैटर्न पर करने के लिए तीन टेस्ट से गुजरना होगा । कहा गया कि पटना उच्च न्यायालय द्वारा नगर निकाय चुनाव में ओबीसी आरक्षण को लेकर उच्च न्यायालय पटना के निर्णय को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। कहा के पटना उच्च न्यायालय द्वारा सुनाया गया फैसला अति पिछड़ा वर्ग और पिछड़ा को दी जा रही संपूर्ण आरक्षण, पूर्व, वर्तमान एवं भविष्य पर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर दिया है । देश के अति पिछड़ा एवं पिछड़ा समाज को भाजपा सरकार के खिलाफ निर्णायक आंदोलन करना होगा। क्योंकि जब से केंद्र में भाजपा की सरकार आई है, तब से आरक्षण पर लगातार हमले हो रहे हैं। इस निर्णय के कारण बिहार सरकार अब कई मामलों में अति पिछड़ों एवं पिछड़ों को आरक्षण नहीं दे पाएगी । इसके पहले भी वर्तमान पैटर्न पर चुनाव हुआ, तब कोर्ट ने रोक नहीं लगाया, या रोक लगाने की कोशिश नहीं हुई।
आखिर जब भाजपा , बिहार सरकार से अलग हुई तो ऐसा क्यों हुआ । 50% आरक्षण की उच्च सीमा और तीन टेस्ट का सवाल कभी 10% ईडब्ल्यूएस आरक्षण पर कभी नहीं आया, लेकिन ओबीसी ईबीसी एवं एससी के केस में आता है, क्यों । देश में इंडियन ज्यूडिशरी सर्विस की शुरूआत होनी चाहिए । अधिवक्ता जनरल, बिहार एवं अन्य वित्तीय सलाहकार के सलाह पर भी पुनर्विचार करना होगा कि ऐसी नौबत ही क्यों आई । निर्णय में सभी पिछडा एवं अति पिछड़ा वर्ग के सीटों का ओपन करने की बात कही गई है। जब तक के तीनों टेस्ट के आधार पर आरक्षण की संख्या नियत नहीं हो जाती है, जिसमें वर्षों लगेंगे । वही तुरंत नगर निकाय चुनाव कराने की भी बात की गई है। अर्थात इस बार बिहार में नगर निकाय चुनाव बिना आरक्षण का ही होगा। कमंडल की राजनीति के खिलाफ आपसी सभी मतभेद भुलाकर 2024 के पहले सभी अति पिछड़ों दलितों एवं आदिवासियों को एक होना होगा,तब ही भाजपा सरकार को भगा सकते हैं। उन्होंने सभी धर्मनिरपेक्ष लोगों से कहा है कि सभी एकजुट होकर रहे और महागठबंधन को मजबूत करें।